Khatauni Khasra Number Check Online: उत्तर प्रदेश में जमीन से जुड़े दस्तावेजों को ऑनलाइन देखना अब बहुत आसान हो गया है। राज्य सरकार ने एक ऑनलाइन पोर्टल शुरू किया है जिसके जरिए आप अपनी जमीन की खतौनी, गाटा संख्या और खसरा संख्या आसानी से चेक कर सकते हैं। इस पोर्टल की मदद से अब आपको तहसील या पटवारी के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। घर बैठे ही आप अपनी जमीन से जुड़ी सारी जानकारी पा सकते हैं।
यह ऑनलाइन सिस्टम किसानों और जमीन मालिकों के लिए बहुत फायदेमंद है। इससे समय और पैसे की बचत होती है। साथ ही भ्रष्टाचार पर भी रोक लगती है। अब कोई भी व्यक्ति अपने मोबाइल या कंप्यूटर से जमीन के रिकॉर्ड देख सकता है। इस लेख में हम आपको बताएंगे कि खतौनी, गाटा संख्या और खसरा संख्या को ऑनलाइन कैसे चेक किया जा सकता है।
खतौनी, गाटा संख्या और खसरा संख्या की जानकारी
विवरण | जानकारी |
खतौनी | जमीन का कानूनी दस्तावेज जिसमें मालिक का नाम और जमीन का पूरा विवरण होता है |
गाटा संख्या | जमीन के एक टुकड़े को दिया गया यूनीक नंबर |
खसरा संख्या | गाटा संख्या का दूसरा नाम |
ऑनलाइन पोर्टल | upbhulekh.gov.in |
जरूरी दस्तावेज | आधार कार्ड, मोबाइल नंबर |
फीस | मुफ्त सेवा |
उपलब्धता | 24×7 |
गाटा संख्या और खसरा संख्या क्या होती है?
गाटा संख्या या खसरा संख्या किसी जमीन के टुकड़े को दिया गया एक विशेष नंबर होता है। यह नंबर उस जमीन की पहचान के लिए इस्तेमाल किया जाता है। हर जमीन का अलग गाटा या खसरा नंबर होता है। इस नंबर की मदद से सरकारी रिकॉर्ड में जमीन की पहचान की जाती है।
गाटा या खसरा संख्या की मदद से आप अपनी जमीन की सारी जानकारी पा सकते हैं। इसमें जमीन का साइज, उसका इस्तेमाल, मालिक का नाम आदि शामिल है। यह नंबर जमीन खरीदने या बेचने के समय बहुत काम आता है।
खतौनी क्या होती है?
खतौनी एक कानूनी दस्तावेज होता है जिसमें किसी जमीन का पूरा विवरण लिखा होता है। इसमें जमीन मालिक का नाम, जमीन का साइज, उसका इस्तेमाल, और अन्य जरूरी जानकारी होती है। खतौनी में कई गाटा या खसरा नंबर हो सकते हैं अगर किसी व्यक्ति के पास कई जमीन के टुकड़े हैं।
खतौनी एक बहुत महत्वपूर्ण दस्तावेज है। इसकी मदद से जमीन के मालिकाना हक को साबित किया जा सकता है। यह दस्तावेज जमीन से जुड़े किसी भी विवाद में काम आता है। इसलिए हर जमीन मालिक के लिए अपनी खतौनी की जानकारी रखना जरूरी है।
ऑनलाइन खतौनी, गाटा और खसरा संख्या चेक करने का तरीका
अब आप घर बैठे ही अपनी जमीन की खतौनी, गाटा संख्या और खसरा संख्या चेक कर सकते हैं। इसके लिए उत्तर प्रदेश सरकार ने एक ऑनलाइन पोर्टल बनाया है। यह पोर्टल है – upbhulekh.gov.in। इस पोर्टल पर जाकर आप अपनी जमीन की सारी जानकारी पा सकते हैं।
स्टेप 1: पोर्टल पर जाएं
- अपने मोबाइल या कंप्यूटर पर इंटरनेट ब्राउजर खोलें
- upbhulekh.gov.in टाइप करें और एंटर दबाएं
- आप उत्तर प्रदेश भूलेख की ऑफिशियल वेबसाइट पर पहुंच जाएंगे
स्टेप 2: खतौनी का विकल्प चुनें
- वेबसाइट के होम पेज पर आपको कई विकल्प दिखेंगे
- “खतौनी (अधिकार अभिलेख) की नकल देखें” पर क्लिक करें
- अब आपको एक कैप्चा कोड भरना होगा
- कैप्चा भरकर सबमिट बटन पर क्लिक करें
स्टेप 3: अपना क्षेत्र चुनें
- अब आपको अपना जिला, तहसील और गांव चुनना होगा
- पहले ड्रॉप डाउन मेनू से अपना जिला चुनें
- फिर तहसील चुनें
- अंत में अपने गांव का नाम चुनें
स्टेप 4: खोज का तरीका चुनें
- अब आपके सामने खतौनी खोजने के कई विकल्प आएंगे
- अगर आपके पास गाटा या खसरा नंबर है तो “खसरा/गाटा संख्या द्वारा खोजें” पर क्लिक करें
- अगर आपको गाटा नंबर नहीं पता तो आप खाता संख्या या खातेदार के नाम से भी खोज सकते हैं
स्टेप 5: जानकारी भरें और खोजें
- अब आप अपना गाटा नंबर या खातेदार का नाम डालें
- “खोजें” बटन पर क्लिक करें
- आपको अपनी जमीन से जुड़ी जानकारी दिख जाएगी
स्टेप 6: खतौनी देखें
- जानकारी में से अपनी जमीन को चुनें
- “उद्धरण देखें” पर क्लिक करें
- अब आपको एक कैप्चा कोड भरना होगा
- कैप्चा भरने के बाद आपकी खतौनी स्क्रीन पर दिख जाएगी
खतौनी में क्या-क्या जानकारी होती है?
जब आप अपनी खतौनी ऑनलाइन देखेंगे तो उसमें बहुत सारी जानकारी होगी। यह जानकारी आपकी जमीन के बारे में सब कुछ बताती है। खतौनी में निम्नलिखित जानकारी होती है:
- खातेदार का नाम: जमीन के मालिक का नाम
- पिता/पति का नाम: खातेदार के पिता या पति का नाम
- जाति: खातेदार की जाति
- निवास: खातेदार का पता
- खाता संख्या: जमीन का खाता नंबर
- गाटा संख्या: जमीन का गाटा या खसरा नंबर
- रकबा: जमीन का कुल क्षेत्रफल
- भूमि का प्रकार: जमीन किस तरह की है (कृषि, आवासीय, व्यावसायिक)
- सिंचाई का स्रोत: अगर कृषि भूमि है तो उसमें सिंचाई कैसे होती है
- फसल: जमीन पर कौन सी फसल उगाई जाती है
- लगान: जमीन पर कितना टैक्स लगता है
- अन्य अधिकार: क्या जमीन पर किसी और का भी अधिकार है
गाटा संख्या और खसरा संख्या का महत्व
गाटा संख्या या खसरा संख्या जमीन की पहचान के लिए बहुत जरूरी है। इसका महत्व निम्नलिखित कारणों से है:
- जमीन की पहचान: हर जमीन का अलग गाटा नंबर होता है। इससे जमीन की सही पहचान होती है।
- सरकारी रिकॉर्ड: सरकारी दफ्तरों में जमीन का रिकॉर्ड गाटा नंबर से ही रखा जाता है।
- खरीद-बिक्री: जमीन खरीदते या बेचते समय गाटा नंबर की जरूरत होती है।
- बैंक लोन: अगर जमीन पर लोन लेना हो तो बैंक गाटा नंबर मांगता है।
- विवाद सुलझाना: जमीन से जुड़े किसी विवाद में गाटा नंबर की मदद से सही जानकारी मिलती है।
- योजनाओं का लाभ: सरकारी योजनाओं का लाभ लेने के लिए गाटा नंबर जरूरी होता है।
- नक्शा देखना: जमीन का नक्शा देखने के लिए गाटा नंबर की जरूरत होती है।
- टैक्स: जमीन पर टैक्स की गणना गाटा नंबर के हिसाब से होती है।
Disclaimer
अस्वीकृति: यह लेख केवल जानकारी के उद्देश्यों के लिए है। इसमें दी गई जानकारी सटीकता और अद्यतनता के लिए प्रयास किया गया है, लेकिन किसी भी प्रकार की कानूनी सलाह या आधिकारिक दस्तावेजों का विकल्प नहीं है। पाठकों को सलाह दी जाती है कि वे अपनी विशेष परिस्थितियों के अनुसार संबंधित अधिकारियों से संपर्क करें। इस योजना की वास्तविकता की पुष्टि करने के लिए उचित जांच करें।